|
प्रेस कांफ्रेंस में उपस्थित सीआईपी के पदाधिकारी। |
KANKE(Ranchi)। लगभग एक लाख लोगों को ओपीडी स्तर पर विभिन्न मानसिक स्वास्थ्य समस्याओं को लेकर चिकित्सा सुविधा देने वाला भारत सरकार का केंद्रीय मनोचिकित्सा संस्थान (सीआईपी), कांके बुधवार को अपना 106 वां स्थापना दिवस मनाएगा। इस कार्यक्रम के मुख्य अतिथि रांची विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ अजीत कुमार सिन्हा तथा विशिष्ट अतिथि आईआईएम के डायरेक्टर डॉ दीपक श्रीवास्तव होंगे। मंगलवार को संस्थान में आयोजित एक प्रेस वार्ता में डॉक्टर निशांत गोयल, डॉक्टर संजय कुमार मुंडा, डॉक्टर अविनाश शर्मा, डॉक्टर सुरजीत प्रसाद, डॉक्टर दीपांजन भट्टाचार्य आदि ने स्थापना दिवस समारोह के अवसर पर होने वाले कार्यक्रमों की विस्तार पूर्वक जानकारी दी। बताया कि इस मौके पर ग्लोबलाइजेशन एंड मेंटल हेल्थ: मार्चिंग थ्रू जी 20 लीडरशिप ईयर विषय पर एक सीएमई का आयोजन किया जाएगा। इसमें मुख्य वक्ता डॉ संजय कुमार मुंडा वैश्वीकरण के युग में हाशिए पर रहने वाले समुदाय के मानसिक स्वास्थ्य विषय, डॉक्टर निखिल नायर समलैंगिक लोगों के मानसिक स्वास्थ्य: वैश्विक से स्थानीय तथा मालविका पारख वैश्विक स्तर पर मां और बच्चों के मानसिक स्वास्थ्य में भारत कितना तैयार है, विषय पर अपना व्याख्यान देंगे। पदाधिकारियों ने संयुक्त रूप से बताया कि संस्थान में मानसिक स्वास्थ्य की समस्याओं को लेकर ओपीडी में इलाज और परामर्श के लिए आने वाले लोगों की तादाद विगत कुछ सालों में लगभग एक लाख तक पहुंच चुकी है। कहा कि यह बढ़ोतरी मानसिक स्वास्थ्य समस्याओं के बढ़ने तथा लोगों के बीच जागरूकता और सामाजिक भ्रांतियों में आई कमी का परिणाम है। कहा कि संस्थान में इलाज के लिए झारखंड, उत्तर प्रदेश, बिहार, पश्चिम बंगाल, ओडिशा छत्तीसगढ़ सहित विभिन्न राज्यों तथा नेपाल, बांग्लादेश और भूटान जैसे देशों से भी मरीज चिकित्सा के लिए आते हैं। बताया कि संस्थान से मनोचिकित्सा, क्लिनिकल साइकोलॉजी, मनो सामाजिक कार्यकर्ता तथा साईकियाट्रिक नर्सिंग के लगभग 1000 से अधिक मेंटल हेल्थ प्रोफेशनल्स तैयार होकर देश और विश्व में अपनी अहम सेवा में जुटे हुए हैं। बताया कि चिकित्सा के साथ ही शिक्षा और अनुसंधान में भी संस्थान ने कई मील के पत्थर स्थापित किए हैं। सीआइपी टेलीमानस झारखंड नाम की सेवा के माध्यम से मानसिक समस्या से ग्रस्त लोगों को इसके टोल फ्री नंबर 14416 के माध्यम से भी परामर्श और इलाज की सुविधा 24 घंटे सातों दिन उपलब्ध करा रहा है। यहां प्रतिदिन 25 से 30 कॉल टेली मानस के काउंसलर्स के पास आते हैं। इससे आत्महत्या की प्रवृत्ति सहित अन्य मामलों में लोगों को परामर्श देकर उनके महत्वपूर्ण जीवन को बचाने में अहम कार्य किया जा रहा है। कहा कि सीआईपी मानसिक स्वास्थ्य के विभिन्न चुनौतियों तथा इसके निदान, चिकित्सा, शिक्षा और अनुसंधान के लिए कटिबद्ध है। बताया कि आने वाले समय में संस्थान के पास ओपीडी भवन भी उपलब्ध होगा। इसमें न्यूरोलॉजी और न्यूरो सर्जरी जैसी अत्याधुनिक सुविधाएं उपलब्ध होगी जिससे झारखंड सहित आसपास के राज्यों के लोगों को इनके चिकित्सा के लिए निमहांस और सीएमसी वेल्लोर आदि का चक्कर काटने से राहत मिलेगी। फिलहाल यह प्रस्ताव स्वास्थ्य महानिदेशालय और मंत्रालय के समक्ष विचाराधीन है तथा इस पर अंतिम स्तर पर निर्णय लिया जाना है। बताते चलें रांची के सांसद संजय सेठ ने सीआईपी के ओपीडी सहित एसएफसी के प्रस्ताव को मंजूरी देने को लेकर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया से मुलाकात कर उनको एक पत्र भी दिया था। इसके उपरांत सीआईपी के रीडिवेलपमेंट को लेकर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री के निर्देश पर स्वास्थ्य मंत्रालय काफी गंभीरता और तेजी से इस पर कार्य कर रहा है। इस अवसर पर डॉ उमेश एस, डॉ वरुण एस मेहता तथा डॉक्टर नरेंद्र कुमार सिंह भी मौजूद थे।
إرسال تعليق
please do not enter any spam link in the comment box.